गुरुवार, 19 नवंबर 2009

हो जाए कल्याण भागवत दीजे भिच्छा

नहीं सपा में पा सके बेचारे जब त्राण
न्यौछावर करने लगे बीजेपी पर प्राण
बीजेपी पर प्राण पुन: पुत्तर संग डोलें
जपें राम का नाम सियासी बानी बोलें
दिव्यदृष्टि है शेष यही अब अंतिम इच्छा
हो जाए कल्याण भागवत दीजे भिच्छा

1 टिप्पणी:

Randhir Singh Suman ने कहा…

अब अंतिम इच्छा bjp samapt ho jaye .

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