धोनी-भज्जी गौर से सुनें खोलकर कान
हासिल हुआ नसीब से तुम्हें पद्म सम्मान
तुम्हें पद्म सम्मान, मगर फिर भी इतराए
किया घोर अपमान नहीं उत्सव में आए
दिव्यदृष्टि है क्षम्य नहीं हरकत अनहोनी
सुनें खोलकर कान गौर से भज्जी-धोनी
व्यक्ति वर्ग से है बड़ा हर हालत में देश
स्थितियां प्रतिकूल हों या दूभर परिवेश
या दूभर परिवेश, कह गए लोग सयाने
देशभक्ति का भाव न कोई बंदिश माने
दिव्यदृष्टि यह सीख बखाने नीति सर्ग से
हर हालत में देश बड़ा है व्यक्ति वर्ग से
बुधवार, 22 अप्रैल 2009
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3 टिप्पणियां:
बिलकुल सही बात कही है जी
दिव्यदृष्टि यह सीख बखाने नीति सर्ग से
हर हालत में देश बड़ा है व्यक्ति वर्ग से
Satya Wachan...
khari baat ...sahi baat
मेरी कलम - मेरी अभिव्यक्ति
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